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MSME सेक्टर में 24% है महिलाओं की भागीदारी, अन्य उद्योगों में इतना उच्च नहीं है आंकड़ा

MSME क्षेत्र में महिलाओं की भागीदारी अधिक है लेकिन नेतृत्व स्तर पर उनकी भागीदारी केवल 10 प्रतिशत है, जो कि निराशाजनक है.

MSME सेक्टर में 24% है महिलाओं की भागीदारी, अन्य उद्योगों में इतना उच्च नहीं है आंकड़ा

Monday September 12, 2022 , 3 min Read

सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम (MSME) क्षेत्र देश में रोजगार के सबसे ज्यादा अवसर पैदा करता है. इस सेक्टर ने अन्य उद्योगों की तुलना में कार्यबल में महिलाओं की भागीदारी की अपेक्षाकृत उच्च दर दर्ज की है. एमएसएमई सेक्टर में महिलाओं की भागीदारी 24 प्रतिशत है. यह बात CIEL HR एनालिसिस स्टडी के निष्कर्षों से सामने आई है.

CIEL HR सर्विसेज, स्टाफिंग और रिक्रूटमेंट फर्म द्वारा आयोजित ‘MSME क्षेत्र में रोजगार के रुझान’ शीर्षक वाले अध्ययन में आगे कहा गया है कि 20 प्रतिशत से अधिक प्रोपराइटरी एमएसएमई का स्वामित्व महिलाओं के पास है. इसमें 23.4 प्रतिशत के साथ पश्चिम बंगाल आगे है और उसके बाद 10.4 प्रतिशत के साथ तमिलनाडु है. अध्ययन से यह भी पता चला है कि हालांकि MSME क्षेत्र में महिलाओं की भागीदारी अधिक है लेकिन नेतृत्व स्तर पर उनकी भागीदारी केवल 10 प्रतिशत है, जो कि निराशाजनक है.

दो वर्षों में कर्मचारियों की संख्या में 45.5% की वृद्धि

पिछले दो वर्षों में MSME क्षेत्र में कर्मचारियों की संख्या में 45.5 प्रतिशत की वृद्धि देखी गई है. MSME में विनिर्माण क्षेत्र (Manufacturing Sector) में औसत कार्यकाल 3.6 साल है. वहीं पर्यावरण/रिन्युएबल्स और ITES क्षेत्रों में औसत कार्यकाल क्रमशः 2.9 वर्ष और 2.5 वर्ष है. ऐसे में विनिर्माण क्षेत्र में एट्रिशन, पर्यावरण/रिन्युएबल्स और ITES क्षेत्रों की तुलना में एक चुनौती से कम नहीं है. रिपोर्ट बताती है कि स्किल्ड मैनपावर की कमी और तकनीक को अपनाने में हिचकिचाहट के कारण केवल 7 प्रतिशत कर्मचारी ही आईटी क्षेत्र में काम करते हैं.

सर्वेक्षण पर टिप्पणी करते हुए CIEL HR सर्विसेज के प्रबंध निदेशक और सीईओ आदित्य नारायण मिश्रा ने कहा कि MSME क्षेत्र हमारी अर्थव्यवस्था के विकास के लिए महत्वपूर्ण क्षेत्रों में से एक है. यह वास्तव में एमएसएमई की रोजगार वृद्धि को देखने के लिए एक सकारात्मक संकेत है. भारत सरकार द्वारा विभिन्न योजनाओं और पहलों जैसे उद्यमी भारत, मुद्रा योजना और आत्मानिर्भर भारत ने एमएसएमई के विकास को एक बड़ा बढ़ावा दिया है. कर्मचारियों की अपस्किलिंग और रीस्किलिंग पर काफी ध्यान केंद्रित किया गया है. हालांकि एमएसएमई उद्योग में महिलाओं की भागीदारी दर में लगातार वृद्धि हुई है लेकिन हमारे अध्ययन से यह भी पता चला है कि बेहतर संगठनात्मक माहौल और बेहतर वित्तीय प्रदर्शन के लिए कार्यकारी स्तर पर बेहतर जेंडर प्रतिनिधित्व की आवश्यकता है.

सर्वेक्षण की अन्य प्रमुख बातें

  • इंजीनियरिंग, संचालन और बिक्री/व्यवसाय विकास, MSME क्षेत्र में प्रमुख व्यावसायिक कार्य हैं.
  • 50 प्रतिशत से अधिक जॉब पोस्टिंग के साथ सेल्स और बिजनेस डेवलपमेंट डोमेन में प्रतिभा की तीव्र मांग है. 17 प्रतिशत जॉब पोस्टिंग के साथ फाइनेंस फंक्शन में भी डिमांड अच्छी है.
  • 99 प्रतिशत रिक्रूटर्स ऑन-साइट जॉब ऑफर कर रहे हैं. MSME, महामारी के बाद रिमोट वर्किंग जारी रखने के इच्छुक नहीं हैं.


Edited by Ritika Singh